Acharya Pramod Congress: 'आपातकाल आज भी है, लेकिन कांग्रेस में' : आचार्य प्रमोद कृष्णम

प्रमोद कृष्णम बोले- आपातकाल कांग्रेस के अंदर है, लोकतंत्र की खूबसूरती बचाए रखना जरूरी
'आपातकाल आज भी है, लेकिन कांग्रेस में' : आचार्य प्रमोद कृष्णम

लखनऊ: पूर्व कांग्रेस नेता आचार्य प्रमोद कृष्णम ने बुधवार को आपातकाल के 50 साल पूरे होने पर कहा कि वैसे तो आपातकाल किसी भी लोकतांत्रिक देश में लगाई जाए, इसकी गुंजाइश न के बराबर है, लेकिन अगर किसी भी लोकतांत्रिक देश में इमरजेंसी लगाई जा रही है, तो समझिए वहां पर अब लोकतंत्र बचा ही नहीं है।

आचार्य प्रमोद कृष्णम ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में कांग्रेस को आड़े हाथों लेते हुए बुधवार को कहा कि आपातकाल अब भी है, लेकिन यह आपातकाल "देश में नहीं, बल्कि कांग्रेस में" है। यह बात कांग्रेस के लोगों को भली भांति समझ भी आ रही है, इसलिए देश-प्रदेश की जनता अब इस पार्टी को सिरे से खारिज कर रही है। लोगों के बीच में अब इस पार्टी की विश्वसनीयता पूरी तरह खत्म हो चुकी है।

उन्होंने कहा कि एक लोकतांत्रिक व्यवस्था में आप किसी भी मुद्दे को लेकर अपनी बात रख सकते हैं। आप किसी मुद्दे पर अपना विरोध जता सकते हैं या उस पर समर्थन कर सकते हैं। यह लोकतंत्र की खूबी है, लोकतंत्र की सुंदरता है। इसी से किसी देश में लोकतंत्र मजबूत होता है। लोगों का लोकतंत्र पर विश्वास बढ़ता है। मौजूदा समय में देश में ऐसी स्थिति बनी हुई है, जिससे यह साफ जाहिर होता है कि लोकतंत्र बहाल है, क्योंकि लोगों को अपनी बात कहने का पूरा अधिकार है, लेकिन आपातकाल के दिनों में ऐसा नहीं था। आपातकाल इस देश का सबसे काला दिन था, जिसे कभी नहीं भुलाया जा सकता है।

उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया इस बात को जानती है कि इंदिरा गांधी ने आपातकाल क्यों लगाया था। पूरी दुनिया इस बात से भली भांति अवगत है। हर साल जब कभी 25 जून आता है, तो लोग इस पर खुलकर अपनी बात रखते हैं, इस पर बड़े संपादकीय लिखते हैं, खुलकर अपने विचार प्रकट करते हैं। अब देश में लोकतंत्र है, तो सभी को अपनी बात रखने का पूरा हक है। यह लोकतंत्र की खूबसूरती है और बतौर नागरिक हमारा यह कर्तव्य बनता है कि हम इस खूबसूरती को बरकरार रखें।

 

Related posts

Loading...

More from author

Loading...