Donald Trump Tariff : दवाइयों पर 100 फीसद टैरिफ लगाना अमेरिका का भारत को धमकी देने जैसा : शाइना एनसी

शाइना एनसी ने ट्रंप के 100% दवा टैरिफ को बताया धमकी भरा कदम
दवाइयों पर 100 फीसद टैरिफ लगाना अमेरिका का भारत को धमकी देने जैसा :  शाइना एनसी

मुंबई: शिवसेना नेता शाइना एनसी ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की तरफ से दवाइयों पर 100 फीसद टैरिफ लगाए जाने के कदम को 'धमकी भरा' बताया है।

शाइना एनसी ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में दावा किया कि आज की तारीख में भारत की स्थिति मजबूत है। भारत आज हर क्षेत्र में आत्मनिर्भर है। अमेरिकी राष्ट्रपति को जितने पैंतरे करने हैं, कर लें, लेकिन अंत में उन्हें भारत के पास ही लौटना होगा। आज की तारीख में हर कोई भारत की शक्ति से अवगत है।

उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति को कोई भी कदम सोच समझकर उठाना चाहिए। अमेरिकी राष्ट्रपति ने दवाइयों पर 100 प्रतिशत टैरिफ लगाया है। ऐसा करके उन्होंने हेल्थ सेक्टर में भूचाल लाने का काम किया है। भारत के पास दवा प्राप्त करने के लिए अमेरिका के अलावा अन्य स्रोत भी मौजूद हैं। ऐसी स्थिति में अमेरिका को अपनी इस गलतफहमी से दूर हो जाना चाहिए कि वह ऐसा करके भारत पर किसी भी प्रकार का मनोवैज्ञानिक दबाव स्थापित कर लेगा।

उन्होंने कहा कि अमेरिकी राष्ट्रपति की यह नीति बिल्कुल भी काम आने वाली नहीं है। अगर अमेरिकी राष्ट्रपति को ऐसा लग रहा है कि वह अपने इस कदम से भारत पर किसी भी प्रकार का मनोवैज्ञानिक दबाव बनाने में सफल रहेगा, तो यह उसकी गलतफहमी है।

शाइना एनसी ने कहा कि यह लोगों के स्वास्थ्य की सुरक्षा का सवाल है। ऐसी स्थिति में मेरी अमेरिकी राष्ट्रपति से यही अपील है कि वो ऐसा करके किसी के लिए चुनौतियां पैदा नहीं करें। यह बिल्कुल भी ठीक नहीं है। डोनाल्ड ट्रंप ऐसा करके ना सिर्फ भारत के साथ रिश्ते खराब कर रहे हैं, बल्कि उसे धमकी देने का भी काम कर रहे हैं, जिसके नतीजे आने वाले दिनों में बुरे ही हैं। मैं समझता हूं कि अमेरिकी राष्ट्रपति के इस कदम को किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जाना चाहिए।

इसके अलावा, संयुक्त राष्ट्र में पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ के उस बयान पर भी निशाना साधा, जिसमें उन्होंने कहा था कि आज की तारीख में आतंकवाद पूरी दुनिया के लिए खतरा बन चुका है।

शाइना एनसी ने कहा कि शहबाज शरीफ का खुलेआम आतंकवाद की आलोचना करना समझ से बाहर है। सबसे पहले पाकिस्तान को अपने गिरेबान में झांकने की जरूरत है। उसे यह समझना होगा कि किस तरह उसे यहां से आतंकियों को तैयार किया जाता है। आज की तारीख में पाकिस्तान आतंकवादियों की जन्मस्थली बन चुका है। ऐसी स्थिति में आतंकवाद के संबंध में किसी भी प्रकार का बयान पाकिस्तानी आतंकवाद की आलोचना करना शोभा नहीं देता है। वे अंतरराष्ट्रीय मंच पर विक्टिम कार्ड खेलते हैं। मैं समझती हूं कि जो देश आतंकवाद को बढ़ावा देते हैं, उन्हें नजरअंदाज करना जरूरी है।

 

 

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