नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के 75वें जन्मदिन से पहले भाजपा नेता उनसे जुड़े किस्से को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर शेयर कर रहे हैं। इस बीच, केंद्रीय मंत्री मनसुख मांडविया ने भी पीएम मोदी से जुड़ा एक किस्सा शेयर किया। उन्होंने बताया कि अपनी हर बैठक में प्रधानमंत्री मोदी ऐसे सुझाव देते हैं, जो न सिर्फ उपयोगी होते हैं, बल्कि उनकी समय से आगे की सोच को भी दर्शाते हैं।
केंद्रीय श्रम एवं रोजगार व युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्री मनसुख मांडविया ने एक्स पर 'माय मोदी स्टोरी' के तहत एक वीडियो शेयर किया। उन्होंने बताया कि जब मैं सड़क परिवहन राज्य मंत्री था, तब मुझे उनके ऐसे ही पहलुओं को करीब से जानने का मौका मिला। मुझे याद है एक चर्चा राष्ट्रीय राजमार्गों पर हो रही थी और उस दौरान पीएम मोदी ने एक बहुत गहरी बात कही कि 'सड़कें और राजमार्ग केवल आवाजाही का साधन नहीं हैं, ये तो समृद्धि की जीवनरेखा हैं।'
उन्होंने आगे कहा, "उन्होंने (प्रधानमंत्री) इसे एक साधारण लेकिन बेहद प्रभावशाली उदाहरण से समझाया था कि 'एक किसान खेत में फसल उगाता है। अगर पास में सड़क है तो वह समय पर अपनी उपज मंडी तक पहुंचा सकता है। लेकिन, अगर सड़क दूर है, खासकर जल्द खराब होने वाली चीजों के मामले में, तो देर होने से पूरी फसल बर्बाद हो सकती है। पीएम मोदी ने आगे कहा कि 'अगर सड़क किसान के गांव तक पहुंचती है तो वह आसानी से सब्जियां खेत से गांव की सड़क तक ला सकता है और वहां से हाईवे पकड़कर जिले की मंडी तक पहुंच सकता है। लेकिन, अगर गांव से 5 किलोमीटर तक सड़क ही न हो, तो किसान को भारी परेशानी होगी। समय पर उपज बाजार में न पहुंचने से उसे सही दाम नहीं मिलेगा और उसे बड़ा नुकसान झेलना पड़ेगा।"
मनसुख मांडविया ने प्रधानमंत्री की तारीफ करते हुए कहा कि उनकी हर नीति में जनकल्याण की नीयत जो झलकती है, वही पीएम मोदी की सबसे बड़ी विशेषता है।
इसके अलावा, दिल्ली सरकार में मंत्री प्रवेश वर्मा ने पीएम मोदी से जुड़ा किस्सा साझा किया। उन्होंने बताया कि जब मैं सांसद था, तब मेरे नजफगढ़ क्षेत्र की सबसे बड़ी मांग एक सरकारी अस्पताल थी। जमीन पहले से ही उपलब्ध थी, लेकिन सालों तक कोई सरकार-सांसद इसे पूरा नहीं कर पाया।
प्रवेश वर्मा ने कहा, "मैं प्रधानमंत्री मोदी के पास यह अनुरोध लेकर गया। उनके सामने खड़ा होकर, मैंने अपना कुर्ता झोली की तरह फैला दिया और कहा कि यह मेरे लोगों की इच्छा है। उन्होंने धैर्यपूर्वक मेरी बात सुनी और मुझसे एक सरल सा सवाल पूछा, 'इससे कितने लोगों को लाभ होगा?' मैंने जवाब दिया कि करीब 3 से 4 लाख लोगों को लाभ होगा। सिर्फ एक महीने के भीतर यह प्रस्ताव कैबिनेट में स्वीकृत हो गया और आज अस्पताल बन चुका है, क्षेत्रवासियों को इसका लाभ मिल रहा है। यह केवल शासन नहीं है, यह संवेदनशीलता है। यही 'मोदी की गारंटी' की शक्ति है।"
भाजपा सांसद दिनेश शर्मा ने भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर 'माय मोदी स्टोरी' के तहत एक वीडियो शेयर किया। उन्होंने कहा, "पीएम नरेंद्र मोदी में जो सबसे अलग बात मुझे हमेशा महसूस हुई, वह है उनकी सूक्ष्मताओं को पहचानने की क्षमता। वे नाम, चेहरे और व्यक्तिगत जानकारी तक याद रखते हैं, जो अक्सर किसी और की नजर से छूट जाती है। उनकी यह व्यक्तिगत जुड़ाव की भावना हर किसी को सम्मानित, अहम और महत्वपूर्ण महसूस कराती है।"
दिनेश शर्मा ने अपनी शादी के दिन को याद करते हुए बताया कि लखनऊ का महापौर रहते मेरी विलंब से शादी हुई थी, गोवा में भारतीय जनता पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक थी और मैं अपनी पत्नी के साथ वहां गया था। बैठक में केवल मुझे सम्मिलित होना था, लेकिन बैठक के बाद में जो लोग भी परिवार के साथ आए थे, वह सामूहिक भोजन करते थे।
उन्होंने आगे कहा, "राष्ट्रीय कार्यकारिणी का सदस्य होने के कारण मुझे जाना था, लेकिन मनोहर पर्रिकर के आग्रह पर मैं पत्नी के साथ गया था, भारतीय जनता युवा मोर्चा के उत्तर प्रदेश के अध्यक्ष होने के समय से ही मैं पीएम मोदी से परिचित था, मेरा विवाह हुआ है, मैंने प्रधानमंत्री को इसके बारे में नहीं बताया था। वह उस समय गुजरात के मुख्यमंत्री थे, रात के खाने के दौरान, जब हम लोग भोजन कर रहे थे, मुझे पीछे से पीएम मोदी की आवाज सुनाई दी, 'कैसे हो?' मैंने आदरपूर्वक पीछे मुड़कर उनका अभिवादन किया और संकोच महसूस किया, क्योंकि मेरी पत्नी मेरे साथ थीं।"
दिनेश शर्मा ने कहा, "मेरी हैरानी तब बढ़ गई, जब उन्होंने कहा कि हां, मुझे पता है कि आपका विवाह हो गया है और हमारे टेबल के पास आकर खड़े हो गए। जब हम खड़े होने ही वाले थे, उन्होंने हमें बैठने के लिए कहा। फिर उन्होंने मुस्कुराते हुए कहा, 'तुमने शादीशुदा जीवन में प्रवेश करके अच्छा किया है, लेकिन तुमने मुझे थोड़ा नुकसान पहुंचाया है।' मैं हैरान रह गया जब उन्होंने समझाया, 'तुम मेरे एक मतदाता को गुजरात से दूसरे राज्य ले गए हो।' मेरी पत्नी गुजरात की थीं और पीएम मोदी ने यह छोटी सी बात भी याद रखी।"
उन्होंने बताया कि मैं उनकी सूक्ष्मता और ध्यान के कायल हो गया। प्रधानमंत्री की यह आदत कि वे व्यक्तिगत रूप से लोगों से जुड़ते हैं, उनके जीवन की छोटी-छोटी बातें याद रखते हैं और उनका सम्मान करते हैं, हर मुलाकात को अविस्मरणीय बना देती है। इतनी व्यस्तताओं के बाद भी सबका ख्याल रखना यह अद्भुत है। भारत उनके नेतृत्व में विकसित राष्ट्र बने, यह संकल्पना है। वह स्वस्थ रहते हुए शतायु हों, यही ईश्वर से प्रार्थना है।