इंदौर: मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सोयाबीन उत्पादन की सफलता पर अपने विचार साझा किए। साथ ही उन्होंने सरदार वल्लभभाई पटेल के प्रशासनिक सेवाओं में योगदान पर जोर दिया।
मोहन यादव ने मध्य प्रदेश के सोयाबीन उत्पादन पर कहा, "मध्य प्रदेश सोयाबीन राज्य के रूप में देश में सबसे बड़ा सोयाबीन उत्पादक है। यह परियोजना 2016-17 में मोदी सरकार द्वारा लागू की गई थी। आज यह योजना न केवल किसानों को सीधे लाभ पहुंचाती है, बल्कि सरकार का महत्वपूर्ण समय और संसाधन भी बचाती है। मैं एक बार फिर किसानों के सक्रिय योगदान के लिए उनका धन्यवाद करता हूं।"
उन्होंने बताया कि सोयाबीन परियोजना से किसानों की आय में सुधार हुआ है और राज्य की कृषि अर्थव्यवस्था मजबूत हुई है। इस योजना ने किसानों को आधुनिक तकनीकों और बेहतर कृषि प्रबंधन के तरीकों से जोड़ने का काम किया है। मुख्यमंत्री ने किसानों की मेहनत और परियोजना में उनकी भागीदारी की सराहना करते हुए कहा कि यह राज्य और देश दोनों के लिए लाभकारी साबित हुई है।
मुख्यमंत्री मोहन यादव ने सरदार पटेल को याद करते हुए कहा, "सरदार वल्लभभाई पटेल ने हमारे प्रशासनिक ढांचे (आईएएस, आईपीएस जैसी सेवाएं शामिल हैं) को भविष्य के लिए तैयार करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने कई चुनौतियों का सामना किया और महान व्यक्तित्व की ताकत से देश के लिए मजबूत आधार तैयार किया। हम सभी उनके योगदान पर गर्व करते हैं और पूरे देश में उनके कार्यों को याद किया जा रहा है।"
उन्होंने आगे कहा कि सरदार पटेल के दूरदर्शी दृष्टिकोण और नेतृत्व ने भारतीय प्रशासनिक सेवाओं की नींव को मजबूत किया। उनके द्वारा किए गए सुधार और संस्थागत निर्माण आज भी प्रशासनिक प्रणाली में स्थिरता और दक्षता बनाए रखने में मदद कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि युवाओं को सरदार पटेल के उदाहरण से प्रेरणा लेकर देश सेवा में योगदान देना चाहिए।
उन्होंने यह संदेश भी दिया कि प्रशासन और कृषि दोनों ही देश की समृद्धि और विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
--आईएएनएस
