पाकिस्तान का साथ देना तुर्की को भारी पड़ेगा, आतंकवाद के समर्थकों से व्यापार नहीं : नरेंद्र कश्यप

तुर्की के बहिष्कार की मांग पर बोले नरेंद्र कश्यप, पाकिस्तान का साथ देने वालों से नहीं होगा व्यापार।
पाकिस्तान का साथ देना तुर्की को भारी पड़ेगा, आतंकवाद के समर्थकों से व्यापार नहीं : नरेंद्र कश्यप

लखनऊ: उत्तर प्रदेश सरकार में मंत्री नरेंद्र कश्यप ने भारत में 'तुर्की के बहिष्कार' को लेकर उठ रही आवाजों पर अपना रुख स्पष्ट किया। उन्होंने कहा कि तुर्की की मौजूदा हालत का जिम्मेदार वह खुद है।

मंत्री नरेंद्र कश्यप ने गुरुवार को समाचार एजेंसी आईएएनएस से बात करते हुए कहा कि जब भारत ने पहलगाम हमले के बाद पाकिस्तान स्थित आतंकवादी ठिकानों को निशाना बनाया, तब तुर्की ने भारत की बजाय पाकिस्तान का साथ दिया। तुर्की को यह समझना चाहिए कि भारत की यह कार्रवाई आतंकवाद को सबक सिखाने के लिए थी। अगर इसके बाद भी कोई देश पाकिस्तान का समर्थन करता है, उसे हथियार देता है, तो भारत के साथ उसका व्यापार नहीं चल सकता।

उन्होंने कहा कि भारत अब 'मोदी युग' का भारत है, जो ईंट का जवाब पत्थर से देना जानता है। हमारी सेना के साहस और पराक्रम ने पूरी दुनिया को दिखा दिया कि भारत अपने दुश्मनों को मुंहतोड़ जवाब देने में सक्षम है।

ऑपरेशन सिंदूर को लेकर कांग्रेस द्वारा उठाए गए सवालों पर मंत्री कश्यप ने कहा कि यह ऑपरेशन भारत की सैन्य क्षमता और रणनीतिक ताकत का प्रतीक है। इसकी सफलता की चर्चा पूरी दुनिया में हो रही है। विपक्ष पर निशाना साधते हुए उन्होंने कहा कि अगर कुछ सियासी दल इस पर सवाल उठाते हैं और सबूत मांगते हैं तो क्या देश देख नहीं रहा? क्या कांग्रेस यह कहना चाहती है कि पाकिस्तान पर जवाबी कार्रवाई करना गलत था? अगर विपक्ष सेना पर सवाल उठाता है, तो देश की जनता उन्हें जवाब देगी।

कर्नल सोफिया कुरैशी पर भाजपा के मंत्री विजय शाह की विवादित टिप्पणी पर नरेंद्र कश्यप ने कहा कि भाजपा और सरकार किसी भी अपमानजनक या असामान्य भाषा का समर्थन नहीं करती। पार्टी ने संबंधित मंत्री को तलब किया है और वह माफी भी मांग चुके हैं, लेकिन उनके बयान का समर्थन नहीं किया जा सकता। हमारी पार्टी अनुशासन और मर्यादा में विश्वास रखती है।

--आईएएनएस

 

 

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