JDU Vs Rahul Gandhi: राहुल गांधी को अपनी भाषा पर नियंत्रण रखना चाहिए : नीरज कुमार

राहुल गांधी पर जदयू का हमला, एसआईआर पर बयान को बताया भ्रामक, तेजस्वी पर भी निशाना साधा
राहुल गांधी को अपनी भाषा पर नियंत्रण रखना चाहिए : नीरज कुमार

पटना: जनता दल यूनाइटेड (जदयू) प्रवक्ता नीरज कुमार ने लोकसभा के नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के चुनाव आयोग पर लगाए गए आरोपों पर तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि राजनीति में एटम बम जैसे बयानों के बजाय तथ्यों और रणनीतियों पर ध्यान देना चाहिए।

नीरज कुमार ने राहुल गांधी से उनकी भाषा पर संयम बरतने और उनके सहयोगी तेजस्वी यादव के चुनाव बहिष्कार संबंधी बयान पर स्थिति स्पष्ट करने को कहा है।

उन्होंने आईएएनएस से बातचीत के दौरान कहा कि चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है और विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) का मामला सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन है। दूसरी ओर राहुल गांधी की पार्टी जहां जीतती है, वहां सब ठीक रहता है, चुनाव आयोग से लेकर ईवीएम तक ठीक। लेकिन, हारने पर आरोप लगाए जाते हैं। एसआईआर की प्रक्रिया में क्या मृतकों को वोटर लिस्ट में रहने दिया जाए, क्या राहुल गांधी यही चाहते हैं?

उन्होंने कहा कि संविधान के अनुसार, एक मतदाता को केवल एक वोट देने का अधिकार है। राहुल गांधी देश की सबसे पुरानी पार्टी के नेता हैं, इसीलिए, जिम्मेदारी के नाते बयान दें।

पीएम-किसान सम्मान निधि योजना की 20वीं किस्त जारी करने पर उन्होंने पीएम मोदी की सराहना की। उन्होंने कहा कि किसानों के बैंक खातों में सीधे राशि हस्तांतरित करना किसानों के प्रति सम्मान और समर्थन का प्रतीक है। यह योजना बिना किसी बिचौलिए के पंजीकृत किसानों के खातों में सहायता राशि प्रदान करती है।

नीरज कुमार ने राजद से निष्कासित तेजप्रताप यादव के बयान पर पलटवार करते हुए कहा कि उनके बयान को गंभीरता से नहीं लेना चाहिए। लालू प्रसाद यादव तो चुनाव नहीं लड़ सकते हैं। बेटे का फर्ज यह है कि उन्हें अपने पिता का ख्याल रखना चाहिए।

जदयू ने तेजस्वी यादव के वोटर लिस्ट में नाम नहीं होने के दावे को खारिज करते हुए ड्राफ्ट रोल की कॉपी सार्वजनिक की है, जिसमें तेजस्वी का नाम शामिल है।

जदयू प्रवक्ता नीरज कुमार ने तेजस्वी पर झूठ बोलने का आरोप लगाया और कहा कि उन्हें इसके लिए माफी मांगनी चाहिए। तेजस्वी को राजनीतिक फ्रॉड करार देते हुए कहा कि उनका बयान तथ्यों पर आधारित नहीं है और यह केवल राजनीतिक नाटक है।

उन्होंने यह भी जोड़ा कि वोटर लिस्ट का विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) एक संवैधानिक प्रक्रिया है और तेजस्वी के आरोप बेबुनियाद हैं।

 

 

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