संभल, 7 नवंबर (आईएएनएस)। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को 'इंडियन स्टेट' बयान मामले में एमपी-एमएलए कोर्ट से बड़ी राहत मिली है। कोर्ट ने राहुल गांधी के खिलाफ दायर की गई याचिका को खारिज कर दिया है।
दरअसल, हिंदू रक्षा दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष सिमरन गुप्ता ने उनके खिलाफ एक याचिका दायर की थी, जिसमें कहा गया था कि राहुल गांधी के बयान से देश की जनता को ठेस पहुंची है। यह देशद्रोह से जुड़ा मामला है। यह केस करीब दस महीनों से कोर्ट में चल रहा था, लेकिन शुक्रवार को अदालत ने अपना फैसला सुनाया।
इस मामले में 28 अक्टूबर को दोनों पक्षों की बहस पूरी हो चुकी थी, जिसके बाद अदालत ने अपना आदेश सुरक्षित रख लिया था। शुक्रवार को कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए राहुल गांधी के खिलाफ दायर याचिका को खारिज कर दिया। कोर्ट के इस फैसले के बाद राहुल गांधी को फिलहाल कानूनी तौर पर राहत मिल गई है। इसका मतलब है कि अब इस मामले में उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं होगी।
हालांकि, याचिकाकर्ता सिमरन गुप्ता ने कहा कि यह लड़ाई यहीं खत्म नहीं होगी। उन्होंने इस फैसले को हाईकोर्ट में चुनौती देने की बात कही। उनका कहना है कि उन्हें न्याय की उम्मीद अभी है।
गौरतलब है कि यह मामला हिंदू शक्ति दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष सिमरन गुप्ता द्वारा दायर की गई उस याचिका से जुड़ा है, जो उन्होंने 23 जनवरी 2025 को एमपी-एमएलए कोर्ट में दाखिल की थी। सिमरन गुप्ता का आरोप था कि राहुल गांधी ने 15 जनवरी 2025 को एक कार्यक्रम में कहा था कि 'हमारी लड़ाई भाजपा या आरएसएस से नहीं, बल्कि इंडियन स्टेट से है।'
याचिकाकर्ता का कहना था कि राहुल गांधी का यह बयान देश के लोकतांत्रिक ढांचे और सरकारी संस्थाओं पर सवाल खड़ा करता है। उन्होंने कोर्ट से मांग की थी कि इस बयान को गंभीरता से लेते हुए राहुल गांधी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाए।
हालांकि, कई महीनों तक चली सुनवाई और बहस के बाद अदालत ने यह याचिका खारिज कर दी, जिससे राहुल गांधी को बड़ी राहत मिली है। अब सिमरन गुप्ता ने कहा है कि वे इस फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील करेंगे। दरअसल 15 जनवरी को राहुल गांधी ने कहा था कि हमारी लड़ाई भाजपा या आरएसएस से नहीं, बल्कि 'इंडियन स्टेट' से है।
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