CBI Arrest : सीबीआई के शिकंजे में 13 साल बाद आया केरल का व्यापारी

सीबीआई ने बैंक धोखाधड़ी के भगोड़े को 13 साल बाद पकड़ा
सीबीआई के शिकंजे में 13 साल बाद आया केरल का व्यापारी

नई दिल्ली: सीबीआई ने 13 साल के लंबे प्रयास के बाद पंजाब में 1.5 करोड़ रुपये की बैंक धोखाधड़ी के घोषित अपराधी को केरल के कोल्लम से गिरफ्तार किया। एक अधिकारी ने रविवार को यह जानकारी दी।

अधिकारी ने एक बयान में बताया कि सीबीआई ने तकनीकी निगरानी के जरिए 18 सितंबर को कोल्लम के कुलक्कड़ा पंचायत निवासी सुरेंद्रन जे. को गिरफ्तार किया।

सीबीआई ने बताया कि कोल्लम स्थित स्टिच एंड शिप कंपनी के मालिक सुरेंद्रन और अन्य पर जुलाई 2010 में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने बैंक ऑफ इंडिया, लुधियाना से जाली और फर्जी दस्तावेजों के आधार पर 1.5 करोड़ रुपये की विदेशी बिल खरीद ऋण सुविधा प्राप्त करने के आरोप में मामला दर्ज किया था।

सीबीआई ने बताया कि आरोपी सुरेंद्रन जे. इस षड्यंत्र का मुख्य साजिशकर्ता था। उसके और एक अन्य के खिलाफ पंजाब के मोहाली के एसएएस नगर स्थित एक विशेष सीबीआई अदालत में पहले ही आरोप पत्र दायर किया जा चुका था।

सुरेंद्रन पहले मुकदमे में शामिल नहीं हुआ था, और 2012 में अदालत ने उसे भगोड़ा घोषित कर दिया था। सीबीआई ने कहा कि उसे पकड़ने के लगातार प्रयासों के बावजूद, वह फरार रहा।

सीबीआई ने बताया कि हाल ही में केरल के कोल्लम जिले में उसकी लोकेशन ट्रेस की गई, जिसके बाद उसे गिरफ़्तार किया गया।

सीबीआई ने एक बयान में कहा कि सुरेंद्रन की गिरफ्तारी के तुरंत बाद, उसे शुक्रवार को तिरुवनंतपुरम के मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश किया गया।

अदालत ने सीबीआई की ट्रांजिट रिमांड देने की अर्जी स्वीकार कर ली ताकि उसे पंजाब के मोहाली स्थित विशेष सीबीआई अदालत में पेश किया जा सके।

सीबीआई के एक बयान में कहा गया है कि घोषित अपराधी को शनिवार को मोहाली स्थित विशेष सीबीआई अदालत में पेश किया गया और न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।

सुरेंद्रन ने निर्यातकों को अक्सर दी जाने वाली ऋण सुविधा का इस्तेमाल करके बैंक को चूना लगाया। उसने विदेशी खरीदारों से भुगतान का इंतजार करते हुए निर्यातकों को उनकी नकदी प्रवाह की जरूरतों को पूरा करने में मदद के लिए दी जाने वाली विदेशी बिल खरीद (एफबीपी) से जुड़ी अल्पकालिक ऋण सुविधा के लिए जाली दस्तावेज दिए थे।

 

 

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