अयोध्या: अयोध्या में ध्वजारोहण समारोह सिर्फ धार्मिक अनुष्ठान ही नहीं बल्कि विकास की एक अनवरत यात्रा है। विकास की इस यात्रा में महिला स्वयं सहायता समूह और युवा स्वयंसेवक भी भागीदार बन रहे हैं। ध्वजारोहण कार्यक्रम के दौरान भीड़ को नियंत्रित करने से लेकर आगंतुकों की सहायता में भी महिला स्वयं सहायता समूह और युवा स्वयंसेवक अपना योगदान दे रहे हैं। महिलाएं घर की चारदीवारी से निकलकर अब अयोध्या के विकास में अपना योगदान कर रही हैं और अपनी आजीविका भी चला रही हैं।
अयोध्या में श्रीराम मंदिर के शिखर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भगवा ध्वज फहराएंगे। इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में विशिष्ट अतिथि भी आ रहे हैं। इनके स्वागत के लिए भी महिला स्वयं सहायता समूहों की सहायता ली जा रही है। हस्तशिल्प, हथकरघा, प्रसाद, माला, बैग, गमछा, मूर्तियां जैसे अनेक उत्पाद इनके द्वारा बेचे जा रहे हैं। इससे इनको धनार्जन भी हो रहा है और महिला सशक्तिकरण को बल मिल रहा है।
मिल्कीपुर में डिवहारिन माई महिला स्वयं सहायता से जुड़ी राधा लक्ष्मी ने अपने प्रयासों से न केवल अपने परिवार को आर्थिक तौर पर मजबूत किया, बल्कि अयोध्या के विकास में भी अपना योगदान दिया। राधा लक्ष्मी ने सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं का फायदा उठाया और बीसी सखी के रूप में काम करने लगी। इनकी मासिक कमाई 40000 से 50000 के बीच है। जिले में ऐसी कई महिलाएं हैं जो राधा लक्ष्मी की तरह अपनी आजीविका चला रही हैं।
अयोध्या में एचडीएफसी बैंक के पीपुल्स एक्शन फॉर नेशनल इंटीग्रेशन कार्यक्रम ने ग्रामीण समुदायों, विशेषकर महिलाओं को सशक्त बनाने के लिए, समग्र ग्रामीण विकास कार्यक्रम (एचआरडीपी) शुरू किया है। महिलाओं के समूह बनाने और व्यक्तियों और महिलाओं के समूहों के सूक्ष्म उद्यम स्थापित करने वाले इस कार्यक्रम ने अयोध्या जिले के अमानीगंज ब्लॉक के गरीब परिवारों की मदद की है। सफल व्यवसाय चलाने से इन महिलाओं को अपने परिवारों और समुदायों में निर्णय लेने का हिस्सा बनने का आत्मविश्वास मिलता है।
अयोध्या जिले के मसौधा ब्लॉक की ग्राम पंचायत हाजीपुर सिंहपुर में महिला सशक्तिकरण की नई मिसाल बन रही है। अवधपुरी महिला स्वयं सहायता समूह की सदस्य क्रांति दीदी ने सीसीएल से 50,000 रुपए का ऋण लिया है। इस ऋण से उन्होंने अपनी आजीविका में वृद्धि की है। इसके माध्यम से महिलाओं को रोजगार देने के प्रयास किए जा रहे हैं। स्वयं सहायता समूह के माध्यम से महिलाओं को ऋण और अन्य सुविधाएं दी जा रही हैं। इससे वे अपनी आजीविका में सुधार कर रही हैं।
अयोध्या में स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर महिला स्वयं सहायता समूहों ने 'हर घर तिरंगा' अभियान के अंतर्गत 2.5 लाख राष्ट्रीय ध्वज तैयार किए थे। जिले के 300 स्वयं सहायता समूहों की 1080 महिलाओं ने एकजुट होकर राष्ट्रीय ध्वज तैयार किए। इन तिरंगों को स्वतंत्रता दिवस पर सरकारी भवनों पर फहराया गया था। इसके लिए प्रति तिरंगा 20 रुपए का भुगतान महिलाओं को किया गया था। इससे न केवल उन्होंने कमाई की, बल्कि महिला उत्थान का एक बेहतर उदाहरण पेश किया। अयोध्या का विकास और महिला स्वयं सहायता समूह एक दूसरे के पूरक हैं। अयोध्या के विकास से जहां महिलाओं को रोजगार के अवसर मिल रहे हैं, वहीं महिलाएं स्वरोजगार से अयोध्या के विकास में योगदान दे रही हैं।
--आईएएनएस
