दरभंगा: राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के वरिष्ठ नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी ने अपने एक बयान पर सफाई दी। उन्होंने कहा कि उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया। उन्होंने स्पष्ट किया कि उन्होंने कभी यह नहीं कहा कि 'देश कांग्रेस का गुलाम हुआ करता था।'
सिद्दीकी ने कहा कि उनके बयान का गलत मतलब निकाला गया और गलत तरीके से प्रस्तुत किया गया।
राजद के वरिष्ठ नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी ने अपने एक विवादित बयान को लेकर आईएएनएस से बातचीत में सफाई दी। उन्होंने कहा कि वह इस बात से आश्चर्यचकित हैं कि उनके मुंह से ऐसा बयान कैसे निकला।
उन्होंने कहा कि मुझे लगा कि स्लिप ऑफ टंग हो गया होगा। इसीलिए, मैंने इसकी जांच के लिए कार्यक्रम का वीडियो देखा, एक दो वीडियो में मैंने पाया कि कहीं भी मैंने कांग्रेस नहीं कहा था, बल्कि अंग्रेज कहा था, पूरा वाक्य इस प्रकार था कि 'देश अंग्रेजों का गुलाम था न कि कांग्रेस का।'
उन्होंने कहा कि मैंने कई अन्य लोगों से वीडियो मंगाए। कहीं भी मैंने कांग्रेस शब्द का इस्तेमाल नहीं किया। बल्कि, मेरा कहना था कि देश अंग्रेजों का गुलाम हुआ करता था, और कांग्रेस ने गुलामी से मुक्ति के लिए नेतृत्व किया और लड़ाई लड़ी। उन्होंने कहा कि उनके बयान को तोड़-मरोड़कर पेश किया गया।
सिद्दीकी ने यह भी आरोप लगाया कि उनके खिलाफ साजिश रची जा रही है, और साजिशकर्ताओं की पहचान सभी को पता है। हालांकि, उन्होंने साजिशकर्ताओं के नाम स्पष्ट नहीं किए।
राजद नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी का यह बयान, जिसमें उन्होंने हिंदुओं को अधिक धर्मनिरपेक्षता (सेकुलरिज्म) समझाने की बात कही। इस बयान ने बिहार की राजनीति में काफी हलचल मचाई। इस बयान को लेकर विवाद बढ़ने पर सिद्दीकी ने सफाई दी कि उनका इरादा किसी को ठेस पहुंचाने का नहीं था। उन्होंने कहा कि भारत की आजादी की लड़ाई में सभी धर्मों के लोगों ने एकजुट होकर हिस्सा लिया था, और देश को आजाद कराया।
सिद्दीकी ने कहा कि अगर कोई हिंदू-मुस्लिम, सिख या ईसाई को बांटने की राजनीति करता है, तो वह निंदनीय है। उनके पूर्वजों ने उन्हें सभी धर्मों और संस्कृतियों का सम्मान करना सिखाया है।