श्रीनगर: महानवमी के पावन अवसर पर बुधवार को जम्मू में स्थित बावे वाली माता मंदिर में श्रद्धालुओं का तांता लगा हुआ है। नवरात्रि के नौवें और अंतिम दिन सुबह से ही हजारों श्रद्धालु माता रानी के दर्शन के लिए मंदिर पहुंचे। पूरे परिसर में माता के जयकारों से गूंज सुनाई देती रही।
श्रद्धालुओं ने आईएएनएस से बातचीत में कहा कि नवरात्रि के ये नौ दिन उनके जीवन के लिए बेहद खास होते हैं। इन दिनों में मां दुर्गा की उपासना से शक्ति और सकारात्मक ऊर्जा मिलती है। श्रद्धालुओं ने माता रानी के चरणों में देश की सुख-समृद्धि और शांति की कामना की।
कई श्रद्धालुओं ने अपनी भावनाएं साझा करते हुए बताया कि माता रानी की कृपा से जम्मू हर संकट से उबरा है। चाहे 'ऑपरेशन सिंदूर' हो, जम्मू-कश्मीर में किसी भी तरह की त्रासदी आई हो, या भारत-पाकिस्तान का क्रिकेट मैच रहा हो। हर बार भारत की जीत और सुरक्षा में मां भगवती का आशीर्वाद साफ दिखता है। श्रद्धालुओं का यह भी मानना है कि हाल ही में आईसीसी महिला क्रिकेट टीम ने भी जीत की शुरुआत माता रानी की कृपा से ही की है।
जम्मू निवासी श्रद्धालु आशीता ने कहा, "मैं यहीं रहती हूं और हर बावे वाली माता रानी के दर्शन करने आती हूं। सभी देशवासियों को नवरात्रि की हार्दिक शुभकामनाएं। माता रानी ने हमेशा जम्मू को संकटों से बचाया है। चाहे ऑपरेशन सिंदूर हो या प्राकृतिक आपदा, मां ने अपनी शक्ति से हमें सुरक्षित रखा है।"
एक अन्य श्रद्धालु ने कहा, "आज हम सुबह जल्दी उठकर बावे वाली माता रानी के दरबार पहुंचे हैं। मां ने हर कठिनाई से जम्मू को बचाया है। चाहे बाढ़ हो या बड़ा संकट, मां की शक्ति हर बार साफ दिखी है। मेरी ओर से पूरे देश को नवरात्रि की शुभकामनाएं।"
दूसरे श्रद्धालु ने अपनी आस्था व्यक्त करते हुए कहा, "जो भी यहां आता है, मान्यता और श्रद्धा के साथ आता है। हमारी मान्यता माता रानी से गहराई से जुड़ी हुई है। हम यही प्रार्थना करते हैं कि मां भगवती का आशीर्वाद हम सब पर सदा बना रहे।"
महानवमी के मौके पर मंदिर परिसर दीपों और फूलों से सजाया गया है। सुबह से ही लंबी कतारों में श्रद्धालु भजन-कीर्तन करते हुए माता रानी के जयकारे लगाते दिखे। बच्चे, महिलाएं और बुजुर्ग सभी में खास उत्साह नजर आया।