नई दिल्ली, 13 जून (आईएएनएस)। पूरा देश इंतजार कर रहा था कि पहले भारतीय गगनयात्री को लेकर एक्सिओम-4 मिशन तय समय पर उड़ान भरेगा, लेकिन 11 जून को लॉन्च होने वाले मिशन को स्थगित करना पड़ा। हालांकि चौथी बार ऐसा हुआ कि मिशन को लॉन्च करने की तारीख बदली गई। भारतीय अंतरिक्ष एजेंसी इसरो प्रमुख वी नारायणन ने एक्सिओम-4 मिशन में देरी का कारण बताया है।
इसरो ने प्रमुख वी. नारायणन के हवाले से आधिकारिक सोशल मीडिया अकाउंट एक्स पर पोस्ट में लिखा, "इसरो, नासा, एक्सिओम स्पेस और स्पेसएक्स के साथ मिलकर अंतरराष्ट्रीय अंतरिक्ष स्टेशन (आईएसएस) के ज्वेज्दा मॉड्यूल में देखी गई समस्या को जिम्मेदारी के साथ हल करने के लिए काम कर रहा है, जिसके कारण एक्सिओम मिशन 4 (एक्स-4) में देरी हुई है। सुरक्षा और मिशन की अखंडता हमारी शीर्ष प्राथमिकताएं बनी हुई हैं।"
11 जून को मिशन स्थगित करने की घोषणा करते हुए इसरो ने जानकारी दी थी कि लॉन्च से पहले टेस्टिंग के दौरान प्रोपल्शन बे में एलओएक्स रिसाव का पता चला था। इसरो ने "एक्स" पर लिखा था, "आईएसएस पर पहला भारतीय गगनयात्री भेजने के लिए 11 जून 2025 को लॉन्च होने वाले एक्सिओम 4 मिशन को टल गया। लॉन्च व्हीकल की तैयारी के तहत फाल्कन-9 रॉकेट के बूस्टर स्टेज के परफॉर्मेंस को जांचने के लिए लॉन्च पैड पर 7 सेकंड की हॉट टेस्टिंग की गई थी। इस टेस्टिंग के दौरान प्रोपल्शन बे में एलओएक्स के रिसाव का पता चला। इस तकनीकी समस्या पर इसरो, एक्सिओम स्पेस और स्पेसएक्स के विशेषज्ञों के बीच गहन चर्चा हुई, जिसके बाद रिसाव को ठीक करने और जरूरी परीक्षण दोबारा करने का निर्णय लिया गया। इसी कारण पहले भारतीय गगनयात्री को अंतरिक्ष भेजने वाला एक्सिओम-04 मिशन, जिसकी लॉन्चिंग 11 जून 2025 को होनी थी, उसे टाल दिया गया।"
इसके पहले 29 मई को एक्सिओम-4 मिशन की लॉन्चिंग थी। उस समय भी तकनीकी खामियों का सामना अंतरिक्ष एजेंसियों को करना पड़ा और नतीजतन इस मिशन में देरी हुई। एक्सिओम 4 मिशन के तहत चार देशों के चार एस्ट्रोनॉट्स को 14 दिन के लिए इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन पर भेजा जाना है। इसमें भारत की ओर से शुभांशु शुक्ला जाने वाले हैं। भारत सरकार ने इस ऐतिहासिक मिशन में भागीदारी के लिए 550 करोड़ रुपये मंजूर किए थे।
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