मॉस्को, 21 जुलाई (आईएएनएस)। क्रेमलिन प्रवक्ता दिमित्री पेसकोव ने बताया कि रूस यूक्रेन मुद्दे पर समझौते को तैयार है, लेकिन अपने मकसद से भी वो किसी भी कीमत पर पीछे नहीं हटेगा।
पेसकोव ने रविवार को सरकारी टेलीविजन को दिए एक इंटरव्यू में कहा, "राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने कई बार कहा है कि वह यूक्रेन संकट का शांतिपूर्ण समाधान जल्द से जल्द चाहते हैं। यह एक लंबी प्रक्रिया है। इसके लिए प्रयास करने होंगे। यह आसान नहीं है। हमारे लक्ष्य बिलकुल स्पष्ट हैं, उनमें कोई बदलाव नहीं है।"
रूसी अधिकारियों ने कई बार कहा है कि कोई भी शांति समझौता यूक्रेन के चार क्षेत्रों से अपनी सेना वापस बुलाने, नाटो में शामिल होने की अपनी कोशिश छोड़ने और नाटो सैनिकों की तैनाती रोकने पर निर्भर करता है।
यूक्रेनी राष्ट्रपति वोलोडिमिर जेलेंस्की ने शनिवार को कहा कि उनके अधिकारियों ने इस हफ्ते मास्को के साथ शांति वार्ता का एक नया दौर आयोजित करने का प्रस्ताव रखा है। उन्होंने शाम को राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में कहा, "सीजफायर के लिए हर संभव प्रयास किया जाना चाहिए।"
'समाचार एजेंसी सिन्हुआ' के अनुसार, 14 जुलाई को अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने ओवल ऑफिस में नाटो महासचिव मार्क रूटे के साथ बैठक के दौरान कहा कि अमेरिका नाटो के जरिए यूक्रेन को हथियार भेजेगा। अगर 50 दिनों में सीजफायर समझौता नहीं हुआ तो रूस पर 'कड़े टैरिफ' लगाने की धमकी दी गई है।
रूस ने ट्रंप के 50 दिन के अल्टीमेटम को खारिज करते हुए इसे अस्वीकार किया है।
इस घोषणा के बाद, नाटो में अमेरिका के स्थायी प्रतिनिधि मैथ्यू व्हिटेकर ने कहा कि यूक्रेन को हथियार आपूर्ति करने और अतिरिक्त रूस-विरोधी प्रतिबंध लगाने के राष्ट्रपति ट्रंप के बयानों पर रूस की प्रतिक्रिया आने की संभावना है, जिसमें रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन भी शामिल हो सकते हैं।
ट्रंप ने रूस पर 'बहुत कड़े टैरिफ' लगाने की धमकी दी है।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन पर अपना गुस्सा जाहिर करते हुए उन्होंने कहा, "उनसे मेरी बातचीत बहुत अच्छी रही, और फिर रात में मिसाइलें दाग दी गईं।"
ट्रंप ने दोनों देशों के बीच समझौता कराने की कोशिश की थी। उन्होंने कहा, "मुझे लगा कि रूस और यूक्रेन के बीच हमारे बीच करीब चार बार समझौता हो गया था, लेकिन युद्ध लगातार चलता ही गया।"
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