पाकिस्तान: खैबर-पख्तूनख्वा में जमीन मुआवजे के लिए प्रदर्शन, हाईवे जाम होने से खाद्यान्न की भारी कमी

इस्लामाबाद, 14 सितंबर (आईएएनएस)। पाकिस्तान में खैबर-पख्तूनख्वा (केपी) प्रांत में हरबन के लोगों ने रविवार को लगातार सातवें दिन काराकोरम राजमार्ग (केकेएच) को जाम रखा। इस दौरान सैकड़ों लोग फंसे हुए हैं। स्थानीय निवासी डायमर-बाशा बांध परियोजना के लिए अधिग्रहीत भूमि के लिए तत्काल और अधिक मुआवजे की मांग पर अड़े हैं।

स्थानीय मीडिया के अनुसार, हरबन नाले के पास धरने के कारण गिलगित-बाल्टिस्तान को शेष पाकिस्तान से जोड़ने वाला मुख्य मार्ग कट गया है, जिससे खाद्यान्न और दवाओं की भारी कमी हो गई है और माल से लदे सैकड़ों ट्रक फंस गए हैं।

प्रमुख पाकिस्तानी दैनिक 'द एक्सप्रेस ट्रिब्यून' की एक रिपोर्ट के अनुसार, प्रदर्शनकारियों ने जल और विद्युत विकास प्राधिकरण (डब्ल्यूएपीडीए) और खैबर-पख्तूनख्वा प्रशासन पर मुआवजा भुगतान के अपने वादों से मुकरने का आरोप लगाया।

एक प्रदर्शनकारी ने कहा, "हमारी जमीन ले ली गई है, कीमत अनुचित है और भुगतान में वर्षों से देरी हो रही है।"

कोहिस्तान जिला प्रशासन और डब्ल्यूएपीडीए के अधिकारियों ने स्वीकार किया कि मुआवजे के कुल मिलाकर करीब 3 अरब रुपये बकाया हैं, जिसमें से लगभग 2 अरब रुपये पहले ही डिप्टी कमिश्नर के खाते में स्थानांतरित कर दिए गए हैं। कानूनी औपचारिकताएं पूरी होने के बाद शेष राशि जारी कर दी जाएगी।

स्थानीय मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, लंबे समय से जारी नाकेबंदी के कारण प्याज और टमाटर जैसी आवश्यक सब्जियों की कीमतें बढ़ गई हैं, जबकि बाबूसर दर्रे से होकर जाने वाले वाहन अत्यधिक किराया वसूल रहे हैं, जिससे पहले से ही महंगाई और बढ़ गई है।

व्यापारी और ट्रांसपोर्टर हर गुजरते दिन के साथ भारी नुकसान की सूचना दे रहे हैं। नागरिक समूहों ने इस मुद्दे पर खैबर-पख्तूनख्वा सरकार की चुप्पी की आलोचना की है और संकट से निपटने में राज्य के अधिकार क्षेत्र पर सवाल उठाए हैं।

प्रदर्शनकारियों ने अपनी मांगें पूरी होने तक धरना जारी रखने की कसम खाई है। स्थानीय निवासियों और व्यापारियों ने संघीय और प्रांतीय अधिकारियों से मामले में हस्तक्षेप करने, बातचीत करने और रणनीतिक राजमार्ग पर यातायात बहाल करने का आग्रह किया है।

--आईएएनएस

वीसी

Related posts

Loading...

More from author

Loading...