जी-20 शिखर सम्मेलन का समापन, दक्षिण अफ्रीका से भारत के लिए रवाना हुए पीएम मोदी

नई दिल्ली, 23 नवंबर (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को जी-20 शिखर सम्मेलन और विश्व नेताओं के साथ अपनी बैठकें समाप्त कर लीं और दक्षिण अफ्रीका के जोहान्सबर्ग से भारत के लिए रवाना हो गए।

विदेश मंत्रालय ने एक्स पर कहा कि जी20 शिखर सम्मेलन में अपने कार्यक्रमों और विश्व नेताओं के साथ बैठकों के सफल समापन के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी दक्षिण अफ्रीका के जोहान्सबर्ग से रवाना हुए।

प्रधानमंत्री मोदी ने शुक्रवार को दक्षिण अफ्रीका का अपना आधिकारिक दौरा शुरू किया और शिखर सम्मेलन के दौरान विश्व नेताओं के साथ महत्वपूर्ण चर्चाएं कीं।

शिखर सम्मेलन के दौरान, प्रधानमंत्री मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, जर्मन चांसलर फ्रेडरिक मर्ज, विश्व व्यापार संगठन की महानिदेशक नगोजी ओकोंजो इवेला, इथियोपिया के प्रधानमंत्री अबी अहमद अली, आईएमएफ प्रमुख क्रिस्टालिना जॉर्जीवा, इतालवी प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी और अन्य सहित कई प्रमुख नेताओं से मुलाकात की।

रविवार को तीसरे सत्र को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री मोदी ने वित्त-केंद्रित और विशिष्ट के बजाय मानव-केंद्रित, वैश्विक और ओपन-सोर्स तकनीक द्वारा संचालित एक निष्पक्ष और न्यायपूर्ण भविष्य की आवश्यकता पर जोर दिया।

उन्होंने डिजिटल भुगतान, अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी और एआई में व्यापक भागीदारी का हवाला देते हुए प्रौद्योगिकी के प्रति भारत के समावेशी दृष्टिकोण पर प्रकाश डाला।

प्रधानमंत्री ने यह भी बताया कि भारत फरवरी 2026 में एआई इम्पैक्ट समिट में दुनिया का स्वागत करने के लिए उत्सुक है।

प्रधानमंत्री ने कहा कि हमने सर्वजन हिताय, सर्वजन सुखाय का विषय चुना है।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि एआई के इस युग में, दृष्टिकोण को 'आज के लिए नौकरियों' से बदलकर 'कल की क्षमताओं' की ओर ले जाना होगा।

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि हमें उम्मीद है कि अगले कुछ वर्षों में, जी-20 प्रतिभा गतिशीलता के लिए एक वैश्विक ढांचा विकसित करेगा। इससे नवाचार को बढ़ावा मिलेगा और हमारे ग्रह के युवाओं को लाभ होगा।

गौरतलब है कि जी-20 शिखर सम्मेलन में विश्व नेताओं ने शनिवार को जी-20 दक्षिण अफ्रीका शिखर सम्मेलन के नेताओं के घोषणापत्र को स्वीकार करते हुए आपदा प्रतिरोधक क्षमता, ऋण स्थिरता, न्यायसंगत ऊर्जा परिवर्तन और महत्वपूर्ण खनिजों पर व्यापक सहमति बनाई।

--आईएएनएस

एमएस/डीएससी

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