सरकारी बैंकों ने बीते 3 वित्त वर्षों में इक्विटी और बॉन्ड के जरिए जुटाए 1.54 लाख करोड़ रुपए : पंकज चौधरी

नई दिल्ली, 18 अगस्त (आईएएनएस)। सरकारी बैंकों ने पिछले तीन वित्त वर्षों में इक्विटी और बॉन्ड के माध्यम से 1,53,978 करोड़ रुपए जुटाए हैं। यह जानकारी सरकार द्वारा संसद को सोमवार को दी गई।

लोकसभा में आए एक सवाल का लिखित में जवाब देते हुए केंद्रीय वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने कहा कि वित्त वर्ष 2022-23 से लेकर वित्त वर्ष 2024-25 के बीच सरकारी बैंकों ने इक्विटी और बॉन्ड के जरिए 1,53,978 करोड़ रुपए जुटाए हैं। इसमें से 44,942 करोड़ रुपए वित्त वर्ष 2022-23 में, 57,380 करोड़ रुपए वित्त वर्ष 2023-24 में और 51,656 करोड़ रुपए वित्त वर्ष 2024-25 में जुटाए गए थे।

केंद्रीय राज्य मंत्री ने कहा कि बैंकों द्वारा पूंजी जुटाने का उपयोग विभिन्न उद्देश्यों के लिए किया जाता है, जिसमें ऋण वृद्धि को समर्थन देने के लिए बैंकों की पूंजीगत आवश्यकताओं को पूरा करना, कैपिटल एडेक्वेसी रेशियो के लिए रेगुलेटरी आवश्यकताओं को पूरा करना, पब्लिक शेयरहोल्डिंग में वृद्धि करके न्यूनतम पब्लिक शेयरहोल्डिंग नियमों का अनुपालन करना और बैंक की समग्र पूंजी स्थिति को मजबूत करना शामिल हैं।

सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक समय-समय पर अपनी पूंजी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए बाजार से पूंजी जुटाते हैं। सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों की मजबूत वित्तीय स्थिति ने निवेशकों का विश्वास बढ़ाया है, जिससे वे बाजार से पूंजी जुटा पा रहे हैं।

वित्त मंत्रालय ने चालू वित्त वर्ष (वित्त वर्ष 26) की पहली तिमाही के वित्तीय प्रदर्शन की समीक्षा के लिए इस सप्ताह सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों के प्रमुखों की एक बैठक बुलाई है।

समीक्षा बैठक में बैंकिंग क्षेत्र की स्थिति पर चर्चा और शेष वित्त वर्ष के लिए संभावनाओं का आकलन किए जाने की संभावना है।

सरकारी बैंकों ने वित्त वर्ष की पहली तिमाही (अप्रैल-जून अवधि) में रिकॉर्ड 44,218 करोड़ रुपए का मुनाफा कमाया है। इसमें सालाना आधार पर 11 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है।

पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में सरकारी क्षेत्र के 12 बैंकों को संयुक्त रूप से 39,974 करोड़ रुपए का मुनाफा हुआ था।

सरकारी बैंकों को चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में हुए मुनाफे सबसे अधिक 19,160 करोड़ रुपए या 43 प्रतिशत का योगदान भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) की ओर से दिया गया है।

इसके अलावा, कई छोटे सरकारी बैंक ने शानदार प्रदर्शन किया है। वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही में इंडियन ओवरसीज बैंक के मुनाफे में सालाना आधार पर 76 प्रतिशत की बढ़त देखने को मिली है, जिससे अप्रैल-जून अवधि में बैंक का मुनाफा बढ़कर 1,111 करोड़ रुपए हो गया है। वहीं, पंजाब एंड सिंध बैंक का मुनाफा सालाना आधार पर 48 प्रतिशत बढ़कर 269 करोड़ रुपए हो गया है।

--आईएएनएस

एबीएस/

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