नई दिल्ली, 3 जून (आईएएनएस)। देश तेल और गैस क्षेत्र में तेजी से तरक्की कर रहा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'नो गो' एरिया खोलकर भारत की ऊर्जा आत्मनिर्भरता की यात्रा को रफ्तार दी है। केंद्रीय पेट्रोलियम और नेचुरल गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने मंगलवार को यह बयान दिया।
केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर पोस्ट करते हुए लिखा, "पीएम नरेंद्र मोदी के मार्गदर्शन में तेल व गैस क्षेत्र में एक्सप्लोरेशन और प्रोडक्शन समुद्र की गहराई से आसमान की नई ऊंचाई की ओर है।"
इसके साथ ही उन्होंने एक वीडियो की पोस्ट किया है जिसमें उन्होंने कहा, "वह अपना 50 प्रतिशत से अधिक समय तेल व गैस क्षेत्र में एक्सप्लोरेशन और प्रोडक्शन बढ़ाने के लिए देते हैं। इसकी वजह विवाद और संघर्ष के कारण 2006 से 2016 का समय व्यर्थ होना है। इन मुद्दों को सुलझाने के लिए हम प्रोडक्शन शेयरिंग से रेवेन्यू शेयरिंग की ओर से शिफ्ट हुए हैं।
इसके साथ ही उन्होंने बताया कि मोदी सरकार ने तेल और गैस क्षेत्र में उत्पादन बढ़ाने के लिए 'नो गो' एरिया को खोलने का साहसी फैसला लिया है।
उन्होंने बताया कि ओपन एरिया लाइसेंसिंग पॉलिसी (ओएएलपी) की नौवीं बोली प्रक्रिया के तहत 38 प्रतिशत बोलियां नो गो एरिया के तहत प्राप्त हुई है। अब हम ओएएलपी की दसवीं बोली की ओर आगे बढ़ रहे हैं।
सीआईआई के 'एनुअल बिजनेस समिट 2025' में केंद्रीय मंत्री पुरी ने कहा कि पिछले एक दशक में सरकार भारत के तलछटी बेसिन में तेल और गैस के लिए खोजे गए क्षेत्र को 6 प्रतिशत से बढ़ाकर 10 प्रतिशत करने में सफल रही है, जो जल्द ही 15 प्रतिशत तक पहुंच जाएगा।
उन्होंने कहा, "हमारा लक्ष्य 2030 तक भारत के तेल और गैस एक्सप्लोरेशन क्षेत्र को 1 मिलियन वर्ग किलोमीटर तक बढ़ाने का है।"
केंद्रीय मंत्री ने कहा, "भारत के ऊर्जा क्षेत्र के आकार और परिमाण का अंदाजा इस तथ्य से लगाया जा सकता है कि 2024-25 में भारत ने लगभग 242.4 मिलियन टन कच्चे तेल का आयात किया और आयात पर 137 बिलियन डॉलर खर्च किए, जबकि जिन देशों से हम आयात करते हैं, उनकी संख्या 27 से बढ़कर 40 हो गई।"
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