मार्केट आउटलुक : अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती, आईआईपी और वैश्विक आंकड़ों से अगले हफ्ते तय होगा बाजार का रुझान

मुंबई, 24 अगस्त (आईएएनएस)। भारतीय शेयर बाजार के लिए अगला हफ्ता काफी महत्वपूर्ण होने वाला है। अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती, आईआईपी एवं एफआईआई के डेटा और वैश्विक आंकड़ों से बाजार का रुझान तय होगा।

अमेरिका में जैक्सन होल में दिए अपने संबोधन में फेड चेयरमैन जेरोम पॉवेल ने ब्याज दरों में कटौती के संकेत दिए हैं, जिसके कारण आखिरी कारोबारी सत्र में यूएस के बाजार में बड़ी तेजी देखी गई थी। इसक असर सोमवार के सत्र में भारतीय बाजारों में देखने को मिल सकता है।

एक्सपर्ट्स के मुताबिक, अमेरिका में ब्याज दरों में कटौती के संकेत से भारत में विदेशी संस्थागत निवेशकों (एफआईआई) की बिकवाली रुक सकती है, क्योंकि ब्याज दर कम होने से अमेरिका की बॉन्ड यील्ड और डॉलर पर नकारात्मक असर होता है।

बीते हफ्ते भारतीय शेयर बाजार में एफआईआई ने 1,559.51 करोड़ रुपए की बिकावली की थी। वहीं, घरेलू संस्थागत निवेशकों (डीआईआई) ने 10,388.23 करोड़ रुपए के शेयर खरीदे थे।

इसके अलावा, अलगे हफ्ते भारत में औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) के आंकड़े जारी किए जाएंगे। यह आंकड़े दिखाते हैं कि देश का औद्योगिक क्षेत्र कैसा प्रदर्शन कर रहा है। इसका सीधा असर शेयर बाजार पर होता है।

बीते हफ्ते भारतीय शेयर बाजार में तेजी देखी गई थी। निफ्टी 0.97 अंक या 238.80 अंक बढ़कर 24,870.10 और सेंसेक्स 0.88 प्रतिशत या 709.19 अंक बढ़कर 81,306.85 पर बंद हुआ।

इस दौरान लार्जकैप के साथ स्मॉलकैप और मिडकैप में तेजी देखी गई। निफ्टी मिडकैप 100 इंडेक्स 1,125.50 अंक या 1.99 प्रतिशत की तेजी के साथ 57,629.75 और निफ्टी स्मॉलकैप 100 इंडेक्स 372.05 अंक या 2.12 प्रतिशत की मजबूती के साथ 17,919.50 पर था।

18-22 अगस्त के कारोबारी सत्र में निफ्टी ऑटो इंडेक्स 5.02 प्रतिशत की तेजी के साथ टॉप गेनर था। इसके अलावा निफ्टी रियल्टी 3.45 प्रतिशत, निफ्टी कंजप्शन 3.01 प्रतिशत, निफ्टी आईटी 1.74 प्रतिशत, निफ्टी एफएमसीजी 1.98 प्रतिशत और निफ्टी मेटल 1.73 प्रतिशत बढ़कर बंद हुआ।

एसबीआई सिक्योरिटी के टेक्निकल रिसर्च और डेरिवेटिव्स प्रमुख सुदीप शाह ने कहा कि शेयर बाजार में तेजी की मुख्य वजह एसएंडपी ग्लोबल रेटिंग्स की ओर से भारत के आउटलुक को अपग्रेड करना है। इससे निवेशकों के विश्वास में इजाफा हुआ है। इसके बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दीपावाली तक जीएसटी के अगले सुधारों ने निवेशकों की धारणा को मजबूती दी है।

--आईएएनएस

एबीएस/

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